BEd DElEd New Guidelines: अगर आप शिक्षक बनने का सपना देख रहे हैं और बीएड (B.Ed) या डीएलएड (D.El.Ed) कोर्स करने की सोच रहे हैं, तो यह खबर आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण है। राष्ट्रीय शिक्षक शिक्षा परिषद (NCTE) और शिक्षा मंत्रालय ने 2025 के लिए इन कोर्सेज से जुड़ी नई गाइडलाइन जारी की है। इन बदलावों का सीधा असर उन लाखों छात्रों पर पड़ेगा जो अध्यापक बनने की तैयारी कर रहे हैं। आइए इन नए नियमों को विस्तार से समझते हैं।
अब एक समय में सिर्फ एक कोर्स करने की अनुमति
नई गाइडलाइन के अनुसार, अब कोई भी छात्र एक साथ बीएड और डीएलएड दोनों कोर्स नहीं कर सकेगा। पहले समय बचाने के लिए छात्र ऐसा करते थे, लेकिन अब यह पूरी तरह से प्रतिबंधित है।
NCTE का तर्क है कि:
- एक साथ दो कोर्स करने से छात्र किसी एक पर पूरी तरह ध्यान नहीं दे पाते, जिससे गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण नहीं मिल पाता।
- इसका सीधा असर शिक्षक बनने की प्रक्रिया और शिक्षा की गुणवत्ता पर पड़ता है।
अब छात्रों को एक समय पर केवल एक ही कोर्स पूरा करना अनिवार्य कर दिया गया है। इससे उनके प्रशिक्षण की गुणवत्ता बेहतर होगी और वे एक अच्छे शिक्षक बनने के लिए बेहतर रूप से तैयार हो सकेंगे।
इंटर्नशिप की अवधि छह महीने की गई
NCTE ने बीएड और डीएलएड दोनों कोर्सेज में इंटर्नशिप को अब बेहद महत्वपूर्ण माना है। पहले यह कुछ हफ्तों की होती थी, लेकिन अब इसकी अवधि बढ़ाकर छह महीने कर दी गई है।
इस बदलाव का उद्देश्य है:
- छात्रों को स्कूलों के माहौल से परिचित कराना।
- बच्चों को पढ़ाने का व्यावहारिक अनुभव प्रदान करना।
- कक्षा प्रबंधन में दक्षता हासिल करवाना।
छह महीने की इस इंटर्नशिप से छात्र न केवल शिक्षक की भूमिका को बेहतर ढंग से समझेंगे, बल्कि उनमें आत्मविश्वास भी विकसित होगा।
केवल मान्यता प्राप्त संस्थानों से करें कोर्स
अब बीएड और डीएलएड कोर्स सिर्फ NCTE से मान्यता प्राप्त कॉलेजों से ही मान्य होंगे। पहले कई निजी संस्थान बिना मान्यता के कोर्स चलाकर छात्रों को फर्जी डिग्री दे रहे थे, जिससे वे गुमराह होते थे।
नई गाइडलाइन के अनुसार:
- बिना मान्यता वाले संस्थानों से ली गई डिग्री अमान्य मानी जाएगी।
- छात्रों को प्रवेश लेने से पहले संस्थान की NCTE मान्यता की जांच करना अनिवार्य होगा।
- यदि कोई संस्थान फर्जी तरीके से कोर्स चला रहा है, तो उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
इस कदम का उद्देश्य फर्जीवाड़े को रोकना और छात्रों को बेहतर व प्रमाणिक शिक्षा प्रदान करना है।
ऑनलाइन पढ़ाई की तय हुई सीमा
कोविड-19 के दौरान ऑनलाइन शिक्षा को बढ़ावा मिला था, और बीएड व डीएलएड कोर्सेज में भी इसकी अनुमति दी गई थी। लेकिन अब NCTE ने इसकी सीमा तय कर दी है।
नई गाइडलाइन के अनुसार:
- थ्योरी के कुछ विषयों और अध्यायों को ही ऑनलाइन पढ़ाने की अनुमति दी जाएगी।
- प्रैक्टिकल ट्रेनिंग, कक्षा शिक्षण (Classroom Teaching), और इंटर्नशिप पूरी तरह से ऑफलाइन करनी होगी।
- छात्र को नियमित तौर पर कॉलेज में उपस्थित होना जरूरी होगा।
इसका उद्देश्य शिक्षकों को वास्तविक परिस्थितियों में प्रशिक्षित करना है, ताकि वे स्कूलों में बच्चों को प्रभावी रूप से पढ़ा सकें।
शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर बड़ा कदम
NCTE और शिक्षा मंत्रालय का यह कदम देश में शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने की दिशा में एक बड़ी पहल माना जा रहा है। अब तक कई शिक्षक बिना उचित प्रशिक्षण के नौकरी पा जाते थे, जिससे बच्चों की पढ़ाई प्रभावित होती थी। अब ये नई गाइडलाइन सुनिश्चित करेंगी कि:
- शिक्षकों को पूरी तरह प्रशिक्षित किया जाए।
- छात्रों को बेहतर शैक्षणिक माहौल और व्यावहारिक अनुभव मिले।
- शिक्षक भर्ती प्रक्रिया में केवल योग्य उम्मीदवार ही आगे आएं।
छात्रों के लिए जरूरी सलाह
यदि आप बीएड या डीएलएड कोर्स करना चाहते हैं, तो इन बातों का विशेष ध्यान रखें:
- केवल एक कोर्स का चयन करें: एक समय में बीएड और डीएलएड दोनों कोर्स न करें।
- कॉलेज की मान्यता जांचें: प्रवेश से पहले NCTE वेबसाइट पर संस्थान की वैधता सुनिश्चित करें।
- इंटर्नशिप को गंभीरता से लें: छह महीने की इंटर्नशिप आपको एक बेहतर शिक्षक बनने में सहायक होगी।
- ऑनलाइन और ऑफलाइन शिक्षण का संतुलन समझें: थ्योरी ऑनलाइन हो सकती है, लेकिन प्रैक्टिकल ट्रेनिंग में शारीरिक उपस्थिति अनिवार्य है।